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प्रेग्नेंसी में मनचाही पोजीशन में न सो पाना करता है परेशान, गायनेकोलॉजिस्ट ने बताया चैन की नींद लेने का सही तरीका
प्रेग्नेंसी के दौरान आरामदायक पोजीशन में सोना, महिलाओं के लिए सबसे बड़ी चुनौतियों में से एक हो सकता है।
sleeping position in pregnancy time know the expert advice
प्रेग्नेंसी में मनचाही पोजीशन में न सो पाना करता है परेशान, गायनेकोलॉजिस्ट ने बताया चैन की नींद लेने का सही तरीका
प्रेग्नेंसी की तीन तिमाही होती हैं जिनमें पहले तीन महीने गर्भावस्था की पहली तिमाही, बाद के तीन महीने प्रेग्नेंसी की दूसरी तिमाही और आखिरी तीन महीने प्रेग्नेंसी की तीसरी तिमाही कहलाते हैं।
इन तीनों ट्राइमेंस्टर में प्रेगनेंट महिलाओं के सोने की पोजीशन अलग-अलग होती हैं। आज हम गायनेकोलॉजिस्ट डॉक्टर शीतल सचदेवा से जानेंगे कि गर्भवती महिलाओं को प्रेग्नेंसी में किस तरह सोना चाहिए।
गर्भावस्था में सोने का सही तरीका क्या है?
गर्भावस्था में सोने का सही तरीका क्या है?
पहले तीन महीने
डॉक्टर शीतल सचदेवा कहती हैं कि पहली तिमाही में आप किसी भी पोजीशन में सो सकती हैं। इन महीनों में आप इस समय सीधी लेट सकती हैं, करवट ले सकती हैं और पेट के बल भी सो सकती हैं। ऐसा इसलिए है क्योंकि अभी भ्रूण प्यूबिक मोड में होता है जिससे गर्भाशय पर सीधा दबाव नहीं पड़ता है। इसलिए पहले तीन महीनों में आप किसी भी पोजीशन में सो सकती हैं।
डॉक्टर शीतल सचदेवा का कहना है कि कुछ स्थितियों में महिलाओं को पेट के बल सोने की सलाह दी जाती है। जब गर्भाशय का साइज बढ़ने पर मूत्राशय पर प्रेशर पड़ता है, तब प्रेगनेंट महिला को पेशाब करने में दिक्कत होती है या पेशाब रूक जाता है। इन स्थितियों में गायनेकोलॉजिस्ट कुछ देर के लिए पेट के बल लेटने की सलाह देती हैं।
प्रेग्नेंसी की दूसरी तिमाही
चौथे महीने से गर्भवती महिलाओं का पेट के बल सोना सही नहीं होता है। डॉक्टर शीतल सचदेवा बताती हैं कि शिशु जिस यूट्रस में होता है, उस यूट्रस का प्रेशर पीछे की एक रक्त वाहिका पर पड़ता है जो कि शरीर के निचले हिस्से से हार्ट तक खून को पहुंचाती है।
इस रक्त वाहिका को आईवीसी कहते हैं। सीधा लेटने पर यूट्रस आईवीसी के ऊपर प्रेशर डालता है। हो सकता है कि इसके कारण सीधा लेटने पर आपको सांस लेने में दिक्कत हो या फिर आपको भारीपन महसूस हो। इस वजह से आपको चौथे महीने के बाद से पीठ के बल सोना बंद कर देना चाहिए। इस समय सीधे लेटने की वजह से एसिडिटी वगैरह भी हो सकती है।
प्रेग्नेंसी में किस पोजीशन में सोना चाहिए
अब डॉक्टर शीतल सचदेवा से जानेंगे कि प्रेग्नेंसी में किस पोजीशन में सोना चाहिए।
टांगों को मोड़कर या सीधा रखते हुए करवट लेकर लेटें और टांगों के बीच में तकिया लगाकर रखें। दाईं या बाईं करवट सो सकती हैं, दोनों ही पोजीशन में शिशु को ब्लड सप्लाई अच्छी मिलती है।
दूसरी सेफ पोजीशन है कि आप कमर और छाती के नीचे तकिया लगाकर लेटें। इससे शरीर को आराम मिलेगा और नींद आने में भी आसानी होगी। अगर आपको सांस लेने में दिक्कत हो रही है तो आप सिर ऊंचा कर के सो सकती हैं। अगर कोई परेशानी नहीं है कि सिर के नीचे एक से ज्यादा तकिए लगाकर सो सकती हैं।
यदि प्रेगनेंट महिला के पैरों में सूजन हो रही है, तो आप पैरों के नीचे तकिया लगाकर सो सकती हैं।
अगर आप रात को गलती से पेट या पीठ के बल सो जाती हैं, तो इससे आपके शिशु को कोई नुकसान नहीं होगा। आप उठकर फिर करवट लेकर या किसी आरामदायक पोजीशन में सो जाएं।
अच्छी नींद लेने के टिप्स
प्रेग्नेंसी में अच्छी नींद लेने के लिए डॉक्टर शीतल सचदेवा ने कुछ टिप्स भी बताए हैं, जो कि इस प्रकार हैं :
दिनभर खूब पानी पिएं लेकिन रात को सोने से पहले ज्यादा पानी न पिएं वरना बार-बार पेशाब आएगा और आपकी नींद खराब होगी।
इसके साथ ही योग, ब्रीदिंग एक्सरसाइज और मेडिटेशन करें। इससे स्ट्रेस कम होगा और अच्छी नींद आएगी।
मसालेदार और तली हुई चीजें कम खाएं। सोने से पहले मधुर संगीत सुनें।
डॉक्टर शीतल सचदेवा कहती हैं कि प्रेगनेंट महिलाएं नींद आने की दवा नहीं ले सकती हैं। दिन में कुछ काम ऐसे करें जिससे थकान हो और आपको रात को नींद अच्छी आए।
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