Login
Lorem ipsum dolor sit amet, consectetur adipiscing elit. Morbi adipiscing gravdio, sit amet suscipit risus ultrices eu. Fusce viverra neque at purus laoreet consequa. Vivamus vulputate posuere nisl quis consequat.
Create an accountLost your password? Please enter your username and email address. You will receive a link to create a new password via email.
Tiredness during Pregnancy : प्रेगनेंसी में होती है थकान तो जान लें इसके कारण और उपाय
गर्भावस्था के नौ महीनों में महिलाओं को कई तरह की परेशानियों और नए अनुभवों से गुजरना पड़ता है। इस समय प्रेगनेंट महिलाओं को थकान भी ज्यादा महसूस होती है।
गर्भ में शिशु को पालना कोई आसान काम नहीं है। शिशु के पालन-पोषण के लिए शरीर को कड़ी मेहनत करनी पड़ती है जिससे प्रेगनेंसी में थकान होना सामान्य बात है। गर्भावस्था की पहली तिमाही और प्रेगनेंसी की दूसरी तिमाही में थकान महिलाओं को ज्यादा महसूस होती है।अगर आपको भी प्रेगनेंसी में अधिक थकान हो रही है तो जान लीजिए कि ये थकान कब तक रहती है और इसे कैसे दूर कर सकते हैं।गर्भावस्था में कब तक रहती है थकान
गर्भावस्था का पहला संकेत थकान ही होता है। कंसीव करने और इंप्लांटेशन शुरू होते ही प्रेगनेंसी हार्मोन तुरंत शरीर, मूड, मेटाबोलिज्म, दिमाग, शारीरिक बनावट और सोने के पैटर्न को प्रभावित करने लगता है। गर्भावस्था की दूसरी तिमाही में थकान कम रहती है। हालांकि, प्रेगनेंसी की तीसरी तिमाही में थकान बहुत ज्यादा होने लगती है।प्रेगनेंसी की पहली तिमाही में थकान
शुरुआती महीनों में प्राजेस्टेरोन लेवल बढ़ने की वजह से थकान और सुस्ती हो सकती है। इसके अलावा ब्लड शुगर और ब्लड प्रेशर का स्तर घटने से भी थकान रहती है और मॉर्निंग सिकनेस भी शरीर को तोड़कर रख देती है।
प्रेगनेंसी के शुरुआती महीनों में शारीरिक बदलावों के कारण थकान और कमजोरी महसूस होना सामान्य बात है। इस दौरान दिल की धड़कन और ब्लड वॉल्यूम बढ़ने, किडनी के अधिक कार्य करने और नींद कम आने की वजह से थकान हो सकती है।
गर्भावस्था की दूसरी तिमाही में थकान के कारण
दूसरी तिमाही के शुरु होते ही थकान में कमी आने लगती है। लेकिन अगर आपको इस समय भी शुरुआती तीन महीनों की तरह ही थकान हो रही है तो आपको डॉक्टर से बात करनी चाहिए।प्रेगनेंसी की तीसरी तिमाही में थकान
इस समय शिशु का वजन बढ़ जाता है जिससे असहजता होती है और नींद आने में भी दिक्कत होती है। वहीं बार-बार पेशाब आने के कारण थकान कम होने की बजाय बढ़ जाती है।
वहीं, प्रेगनेंसी में आयरन डेफिशियेंसी एनीमिया के कारण भी एनर्जी लेवल में कमी आ सकती है। डिप्रेशन भी शरीर को सुस्त बना देता है।डॉक्टर को कब दिखाएं
अनिद्रा, स्लीप एप्निया, प्रीक्लैंप्सिया या नींद से जुड़ी किसी अन्य स्थिति से ग्रस्त होने पर डॉक्टर से बात करें। इसके अलावा एनीमिया, जेस्टेशनल डायबिटीज या डिप्रेशन, आंखों की देखने की क्षमता में कोई बदलाव, चक्कर आने, कम पेशाब आने, सांस लेने में दिक्कत, पेट के ऊपरी हिस्से में दर्द, तेज सिरदर्द और हाथों, एडियों और पैरों में पसीना आना भी सामान्य बात नहीं है।थकान दूर करने के लिए क्या करें
लगभग सभी महिलाओं को प्रेगनेंसी के दौरान ज्यादा थकान होती है। शरीर की मालिश करें और पर्याप्त आराम करें। इसके साथ ही संतुलित आहार लें ताकि शरीर को थकान से लड़ने में मदद मिल सके।शारीरिक और मानसिक रूप से प्रेगनेंसी एक थका देने वाला अनुभव होती है। इस दौरान आपको ये बात नहीं भूलनी चाहिए कि आपके गर्भ में शिशु पल रहा है जिसकी सुरक्षा और देखभाल आपके हाथ में है।
--------------------------- | --------------------------- |