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महिलाओं में पेट के निचले हिस्से (पेड़ू) में दर्द के हो सकते हैं ये 5 कारण, जानें इसके उपचार
महिलाओं में पेट के निचले हिस्से में दर्द के कई कारण हो सकते हैं। इससे निपटने के लिए आपको इन बातों का ध्यान रखना चाहिए।
महिलाओं में पेट के निचले हिस्से (पेड़ू) में दर्द के हो सकते हैं ये 5 कारण, जानें इसके उपचार
महिलाओं में पेट के निचले हिस्से में दर्द के कई कारण हो सकते हैं। हालांकि इसके कई सामान्य कारण हो सकते हैं। लेकिन अगर महिलाओं में ये दर्द की समस्या बार-बार हो रही है, तो इसे बिल्कुल इग्नोर न करें। इसके पीछे कई गंभीर कारण हो सकते हैं। जिसकी जांच की जरूरत होती है। पेट के नाभि के नीचे दर्द को पेल्विक दर्द भी कहा जाता है। दर्द का कारण इंफेक्शन और बीमारियां भी हो सकती है। इसके अलावा गैस की दिक्कत और बैक्टीरियल इंफेक्शन के कारण भी पेट के निचले हिस्से में दर्द हो सकता है। आइए इसके बारे में विस्तार से जानते हैं गुड़गांव के फोर्टिस मेमोरियल रिसर्च इंस्टीट्यूट की स्त्री रोग और प्रसूति विज्ञान की डारेक्टर डॉक्टर नूपुर गुप्ता से।
महिलाओं में पेट के निचले हिस्से में दर्द का कारण
1. पीरियड्स के कारण
महिलाओं में पीरियड्स के दौरान भी पेट के निचले हिस्से में दर्द हो सकता है। इससे पेट में ऐंठन, दर्द और जलन भी हो सकता है। कभी-कभी ये दर्द पीठ के निचले हिस्से में भी हो सकता है। यह बहुत असुविधाजनक और परेशानी भरा होता है। कई महिलाओं को तो इतना दर्द होता है कि वे अपने बेड से उठ भी नहीं पाती है और न ही आसानी से अपने दैनिक काम कर पाती है। इससे बचने के लिए आप गर्म पानी की बोतल और दवाओं का इस्तेमाल कर सकते हैं। साथ ही आप अपने डॉक्टर की सलाह से दर्द निवारक दवाओं का सेवन भी कर सकते हैं। इस दौरान आपको अपने खानपान का भी ध्यान रखना चाहिए।
2. यूरिनरी ट्रैक्ट इन्फेक्शन (UTI)
यूटीआई या पानी कम पीने से संक्रमण के कारण महिलाओं में पेट के निचले हिस्से में दर्द हो सकता है, साथ ही पेशाब के दौरान जलन जैसे लक्षण भी महसूस हो सकते हैं। बहुत बार पेशाब जाने की जरूरत भी महसूस होती है। इसके लिए आपको अपने आहार में तरल पदार्थों का अधिक सेवन करना चाहिए ताकि सिस्टिटिस जैसे यूरिन इंफेक्शन अपने आप ठीक हो सकें। लेकिन, अगर ये परेशानी अधिक पानी पीने के बाद भी ठीक नहीं हो पा रही है, तो आपको अपने डॉक्टर से सलाह जरूर लेनी चाहिए ताकि सही दवाओं की मदद से समस्या ठीक हो सके। अधिक यूटीआई की समस्या होने पर आपकी किडनी भी प्रभावित हो सकती है। इससे पेट और पीठ के निचले हिस्से में दर्द होता है।
3. पेल्विक इंफ्लेमेटरी डिजीज
प्रजनन प्रणाली में संक्रमण गर्भाशय, फैलोपियन ट्यूब और अंडाशय को प्रभावित कर सकता है। प्रजनन मार्ग में इंफेक्शन बहुत गंभीर हो सकता है और आप किसी गंभीर बीमारी का शिकार हो सकते हैं। इसलिए इसे बिल्कुल अनदेखा न करें। ऐसी समस्या कई बार एसटीआई के कारण होते हैं इसलिए अगर आप सेक्सुअली एक्टिव है, तो आपको नियमित तौर पर यौन स्वास्थ्य की जांच करानी चाहिए ताकि आप किसी तरह के संक्रमण के शिकार न हो। इसके आम लक्षणों में सेक्स के दौरान दर्द, स्पॉटिंग, सफेद डिस्चार्ज से गंध आना या प्रजनन प्रणाली में संक्रमण शामिल है।
4. गैस की समस्या
अगर आपको पेट के बाईं ओर दर्द महसूस हो रहा है, तो ये गैस के कारण हो सकता है। पेट में गैस बनने के कारण भी महिलाओं के निचले भाग में दर्द हो सकता है। यह समय पर भोजन न करने या सही डाइट फॉलो न करने के कारण हो सकता है। कई महिलाओं में ये देखा जाता है कि काम करने के दौरान वह खाना समय पर नहीं खा पाती है या अपने खानपान को लेकर सजग नहीं रहती है। ऐसे में उन्हें कई स्वास्थ्य समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। इससे आपका पाचन तंत्र और गट हेल्थ भी प्रभावित हो सकती है।
5. मांसपेशियों में दर्द
पेट के निचले हिस्से में दर्द आम मांसपेशियों का दर्द भी हो सकता है। कई बार जिम करने या एक्सरसाइज करने के दौरान चोट लग जाने पर मांसपेशियों में दर्द हो सकता है। कई बार अचानक भारी चीज उठाने या अगर आपने हाल ही में एक्सरसाइज या जिम करना शुरू किया है, तो उस स्थिति में भी आपको पेट के निचले हिस्से में दर्द का अनुभव हो सकता है। इससे बचने के लिए हमेशा धीरे-धीरे एक्सरसाइज का स्तर बढ़ाएं और असुविधा होने पर खुद के साथ जबरदस्ती न करें।
इन बातों का रखें ध्यान
1. महिलाओं के पेट के निचले हिस्से में दर्द के कई सामान्य कारण हो सकते हैं। इसके लिए आप गर्म या ठंडे पानी के सेंक का इस्तेमाल कर सकते हैं। साथ ही हल्के व्यायाम का सहारा भी ले सकते हैं।
2. इसे ठीक करने के लिए आप अपने खाने में फाइबर की मात्रा अधिक लें ताकि खाने का पाचन अच्छे से हो।
3. यूटीआई जैसी समस्याओं से निपटने के लिए खूब पानी पिएं और लिक्विड के स्तर को बनाए रखें।
4. असहनीय दर्द और परेशानी होने पर तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें ताकि यह दर्द आपके लिए गंभीर न बनें।
5. नियमित रूप से पीरियड्स न होने पर भी दर्द हो सकता है, तो उस स्थिति में डॉक्टर से संपर्क करें।
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