Login
Lorem ipsum dolor sit amet, consectetur adipiscing elit. Morbi adipiscing gravdio, sit amet suscipit risus ultrices eu. Fusce viverra neque at purus laoreet consequa. Vivamus vulputate posuere nisl quis consequat.
Create an accountLost your password? Please enter your username and email address. You will receive a link to create a new password via email.
लड़का हो तो प्रेग्नेंसी में मिलते हैं कुछ ऐसे संकेत
प्रेगनेंसी में जहां मां और बच्चे की सेहत की फिक्र रहती है, वहीं मन में यह सवाल भी आता रहता है कि लड़का होगा या लड़की।
signs you are having a baby boy in hindi
लड़का हो तो प्रेग्नेंसी में मिलते हैं कुछ ऐसे संकेत
प्रेगनेंट होने पर मां ही नहीं बल्कि परिवार के हर सदस्य को ये जानने की उत्सुकता रहती है कि गर्भ में लड़का है या लड़की। सदियों से ही ये उत्सुकता चली आ रही है और इस वजह से इस विषय को लेकर कई धारणाएं, कहानियां और भ्रम पैदा हो गए हैं। आपने भी बच्चे के सेक्स का पता लगाने के लिए ऐसे कई तरीकों के बारे में सुना होगा जिनका कोई वैज्ञानिक आधार नहीं है। वहीं प्रेगनेंट महिलाओं ने नौ महीने के दौरान कभी न कभी तो ये जरूर सुना होगा कि उनके लक्षण बेटा होने की ओर संकेत कर रहे हैं। तो चलिए जानते हैं कि प्रेग्नेंसी में लड़का पैदा होने वाले संकेतों में कितनी सच्चाई है और इनका वैज्ञानिक आधार क्या है।
भ्रम : प्रेग्नेंसी में मॉर्निंग सिकनेस या मतली न होने का मतलब है लड़का होगा।
तथ्य : 70 से 80 फीसदी गर्भवती महिलाओं को मॉर्निंग सिकनेस होती ही है। ये गर्भावस्था की पहली तिमाही में ज्यादा होती है लेकिन कुछ महिलाओं को डिलीवरी तक यह समस्या रहती है। ऐसा माना जाता है कि हार्मोनल बदलाव के कारण मॉर्निंग सिकनेस होती है और इसका शिशु के लिंग से कोई संबंध नहीं है।
हार्ट रेट
भ्रम : अगर आपके शिशु का हार्ट रेट प्रति मिनट 140 बीट है तो लड़का हो सकता है।
तथ्य : अध्ययनों की मानें तो पहली तिमाही में लड़के और लड़की के हार्ट रेट में कोई अंतर नहीं होता है। भ्रूण की सामान्य हार्ट रेट 120 से 160 बीपीएम होती है जो कि प्रेग्नेंसी के शुरुआती चरण में 140 से 160 बीपीएम और गर्भावस्था के आखिरी चरण में 120 से 140 बीपीएम तक जा सकती है।
बालों और त्वचा में बदलाव
भ्रम : कहते हैं कि अगर पेट में लड़का हो तो स्किन पर दाने नहीं आते जबकि लड़की होने पर मां की स्किन खराब हो जाती है। वहीं लड़का होने पर बाल भी घने और सुंदर रहते हैं।
तथ्य : हार्मोन के स्तर में बदलाव के कारण त्वचा और बालों में बदलाव आता है। हार्मोनल बदलाव के कारण स्किन साफ और बाल सुंदर हो सकते हैं।
फूड क्रेविंग (कुछ खाने का मन करना)
भ्रम : खट्टी या नमकीन चीजें खाने की इच्छा होने का मतलब है कि गर्भ में लड़का है।
तथ्य : इस बात को साबित करने के लिए कोई वैज्ञानिक तथ्य मौजूद नहीं है। पोषण की कमी या हार्मोनल बदलाव के कारण क्रेविंग हो सकती है। इसमें सांस्कृतिक और मनोसामाजिक कारक भी अहम हैं। हालांकि, इस बात की पुष्टि के लिए पर्याप्त अध्ययन नहीं हो पाए हैं।
बेबी बंप की पोजीशन
भ्रम : प्रेग्नेंसी में बेबी बंप का नीचे की ओर होना बेटा होने का संकेत है।
तथ्य : जरनल बर्थ में प्रकाशित रिसर्च स्टडी के अनुसार बेबी बंप से शिशु के सेक्स का पता नहीं लगाया जा सकता है। बेबी बंप की पोजीशन शिशु और गर्भाशय के आकर से संबंधित हो सकती है।
मूड में बदलाव
भ्रम : लड़का हो तो प्रेगनेंट महिला के मूड में ज्यादा बदलाव नहीं आते हैं।
तथ्य : प्रेग्नेंसी में होने वाले हार्मोनल बदलाव के कारण ही मूड स्विंग्स होते हैं। इससे शिशु के लिंग का कोई संबंध नहीं है।
इसी तरह बच्चे के लिंग को लेकर और भी कई तरह के भ्रम फैले हुए हैं। वैसे आपको बता दें कि हर महिला की प्रेग्नेंसी अलग होती है, हां लेकिन गर्भावस्था में होने वाले कुछ आम लक्षण हर प्रेगनेंट स्त्री में देखे जाते हैं।
--------------------------- | --------------------------- |