Login
Lorem ipsum dolor sit amet, consectetur adipiscing elit. Morbi adipiscing gravdio, sit amet suscipit risus ultrices eu. Fusce viverra neque at purus laoreet consequa. Vivamus vulputate posuere nisl quis consequat.
Create an accountLost your password? Please enter your username and email address. You will receive a link to create a new password via email.
गर्भधारण के बाद हर महिला के तन-मन में अलग सी हलचल होने लगती है। गर्भावस्था में शुरुआती तीन महीने बहुत अहम होते हैं क्योंकि इस दौरान गर्भवती महिला के शरीर में काफी बदलाव होते हैं। इस लेख को पढ़ें और पहली तिमाही के गर्भावस्था लक्षणों के बारे में और अधिक जानें।
पहली तिमाही जिसमें एक से तीन महीने शामिल होते हैं यानी एक से 12 सप्ताह। इस समय की गर्भावस्था में कई बदलाव होते हैं। ऐसे में शरीर में परिवर्तित हो रहे हार्मोंस के बीच भ्रूण भी लगातार विकसित होता रहता है। गर्भावस्था के प्रारंभिक चरणों में गर्भावस्था की स्थिति का पता नहीं चलता। लेकिन, डॉक्टर से समय-समय पर जांच कराने पर गर्भावस्था के शुरूआती लक्षणों को पहचाना जा सकता है। आइए जानते हैं गर्भावस्था की पहली तिमाही के लक्षणों के बारे में।
1. पहले सप्ताह में गर्भावस्था के लक्षण
अत्यधिक गैस, बेचैनी, घबराहट, उबकाई और कब्ज गर्भावस्था के पहले सप्ताह के कुछ लक्षण हैं। इस सप्ताह में गर्भधारण के बाद हार्मोंन परिवर्तन होने लगते है, जिससे गर्भवती महिला के व्यवहार में बदलाव या चिढ़चिढापन आने लगता है। गर्भधारण के बाद अक्सर थकान और सिरदर्द रहने की शिकायत होने लगती है साथ ही शुरू के दिनों में पैरों पर सूजन दिखाई देने लगती है।
2. दूसरे सप्ताह में गर्भावस्था के लक्षण
पहले सप्ताह के लक्षण दूसरे सप्ताह में भी मौजूद रहते हैं। साथ ही थकान, बुखार, सूजन, सिरदर्द की शिकायत दूसरे सप्ताह में भी बनी रहती है। गर्भावस्था का यह दूसरा सप्ताह होने के कारण गर्भवती स्त्री के हार्मोंस में तेजी से बदलाव आता है। इस दौरान ओवरी से अंडे के बाहर आने का समय शुरू होने लगता है।
3. तीसरे सप्ताह में गर्भावस्था के लक्षण
तीसरे सप्ताह में गर्भवती में दूसरे सप्ताह के मुकाबले अधिक बदलाव दिखाई देते हैं। तीसरा सप्ताह भ्रूण विकास में बहुत मदद करता है। अंडा इस दौर में ओवरी से पूरी तरह से बाहर आने वाला होता है। तीसरे सप्ताह में ओवरी में अंडे पूरी तरह बन जाते है जिससे पता चलता है कि कितने अंडे बने हैं, यानी सोनोग्राफी के माध्यम से गर्भवती महिला एक साथ कितने बच्चों को जन्म देने वाली है, के बारे में पता लगाया जा सकता है।
4. चौथे सप्ताह में गर्भावस्था के लक्षण
गर्भवती महिलाएं जब प्रारंभिक लक्षणों से गुजरकर चौथे सप्ताह में पहुंचती हैं, तो इस सप्ताह के दौरान उन्हें गर्भधारण किए हुए एक महीना गुजर जाता है। चौथे सप्ताह में गर्भवती महिला के हार्मोंस बदलने लगते है, जिससे उसके शरीर में खिंचाव और तनाव महसूस होने लगता है। गर्भधारण के पश्चात महिलाओं के दूध की ग्रंथियां बढ़ने लगती है, जिससे छाती में दर्द होने की शिकायत होने लगती है। यह परिवर्तन कम से कम एक महीने तक रह सकता है।
5. पांचवे सप्ताह में गर्भावस्था के लक्षण
गर्भावस्था से जुड़ी आम परेशानियां इस सप्ताह में और भी अधिक महसूस होने लगती हैं। गर्भावस्था के इस चरण में आपको शरीर में कुछ झुनझुनी की संवेदना के साथ स्तन में कोमलता या दर्द महसूस होने की शुरूवात भी हो सकती हैं। आपके शरीर में हार्मोन के स्तर में परिवर्तन के कारण कुछ धब्बे, खून बहना या ऐंठन का अनुभव सामान्यतः हो सकता हैं। परेशान न हो, डॉक्टर से बात करे और अपनी चिंताओं को बताए. उसे ये निर्णय करने दे, कि आपको चिंतित होने कि जरुरत है या नही।
6. छठें सप्ताह में गर्भावस्था के लक्षण
छठें महीनें में कुछ महिलाओं में गर्भावस्था के लक्षण दिखते है और कुछ महिलाओं में नहीं। गर्भावस्था के लक्षणों में से कुछ लक्षण मार्निग सिकनेस, थकान, मिचली और श्रोणि में असुविधा हैं। इस सप्ताह में कुछ महिलाओं को गर्भावस्था के दौरान अधिक नींद आती है जिसका कारण हार्मोन में परिवर्तन होता है। थकान आमतौर पर गर्भावस्था के पहले सप्ताह से पहली तिमाही के अंत तक चलती है। कुछ महिलाएं में इस समय गंध के प्रति संवेदना बढ़ जाती है। जो पूरे गर्भावस्था के दौरान रहती है।
7. सातवें सप्ताह में गर्भावस्था के लक्षण
गर्भावस्था के सातवें सप्ताह में आप को देख कर, दूसरे शायद ही बता पाऐंगे कि आप गर्भवती हैं। क्योंकि हर महिला अलग होती है, कुछ महिलाओं का वजन इस समय बढेगा और कुछ महिलाओं का वजन कम हो सकता है। जिन महिलाओं का वजन कम होता है वह पहली तिमाही में मार्निग सिकनेस के कारण होता है। सिर दर्द, मतली, अक्सर पेशाब, अपच और कब्ज भी इस सप्ताह में हो सकता है। मार्निग सिकनेस इस समय और बढ़ सकती है।
8. आठवें सप्ताह में गर्भावस्था के लक्षण
गर्भावस्था के आठवें हफ्ते में शारीरिक परिवर्तन से, आपके स्तन में नरमाई और दर्द हो सकता है क्योंकि शरीर स्तनपान के लिए तैयारी कर रहा होता है। इस सप्ताह में, स्तन क्षेत्र के आसपास काली नसें दिखने लगती हैं, इसका कारण रक्त प्रवाह में वृद्धि होता है। आठवें सप्ताह में, बढते हुए गर्भाशय के कारण पेट के निचले हिस्से में दर्द का अनुभव शुरू हो जाता है। साथ ही आपको गर्भाशय में कुछ कसाव या संकुचन का अनुभव हो सकता है। कई महिलाओं में मार्निग सिकनेस इस समय तक खत्म हो जाती है।
9. नौवें सप्ताह में गर्भावस्था के लक्षण
गर्भावस्था के नौवें सप्ताह में आपका वजन अधिक बढेगा और आपको भूख ज्यादा लगनी शुरू हो जाएगी। इस सप्ताह में सेक्स की इच्छा में कमी हो जाती है और दंत स्वास्थ्य पर भी प्रभाव पड़ने लगता है। आपको मिजाज के परिवर्तन में भी वृद्धि दिखेगी और आपको और अधिक फूला हुआ महसूस हो सकता है क्योंकि गर्भावस्था में प्रगति हो रही है।
10. दसवें सप्ताह में गर्भावस्था के लक्षण
एस्ट्रोजन और प्रोजेस्टेरोन हार्मोन का स्तर बढ़ने के कारण गर्भावस्था के दसवें हफ्तें में आप में कुछ और परिवर्तन आएगें। इन स्तरों में वृद्धि से आपके स्तन में नरमी और स्तनों में कुछ सूजन होगी। गर्भाशय में बढने वाले शिशु के कारण इस सप्ताह आप पेट में दर्द का अनुभव भी कर सकती है। मार्निग सिकनेस इस समय तक बिल्कुल खत्म हो जाती है।
11. ग्यारहवें सप्ताह में गर्भावस्था के लक्षण
ग्यारहवें सप्ताह में गर्भवती को शारीरीक स्वरूप में कुछ बदलाव दिखना शुरू होगा। अभी तक पेट दिखना शुरु नही होता है, लेकिन वजन में बढोत्तरी थोडी अधिक दिखाई देगी। कुछ महिलाओं में, उनके हाथ और पैरों के उंगलियो के नाखूनों में रंग में कुछ परिवर्तन का अनुभव हो सकता है। यह हार्मोन में परिवर्तन और रक्त परिसंचरण में वृद्धि के कारण होता है।
12. बारहवें सप्ताह में गर्भावस्था के लक्षण
गर्भावस्था के बारहवें सप्ताह के दौरान, बच्चे में हो रहे विकास के कारण गर्भाशय का आकार भी बड़ा होने लगता है। इस हफ्ते में गर्भवती के वजन में और 2 से 3 पौंड वृद्धि होती है। त्वचा के रंग में भी कुछ परिवर्तन हो सकता हैं। और यदि आपके त्वचा पर दाग है, तो वह गर्भावस्था के दौरान और गहरे हो सकते है। आपको गर्भावस्था के बारहवें सप्ताह में दिल में जलन का अधिक अनुभव हो सकता है।
--------------------------- | --------------------------- |