लड़की पैदा करने के लिए कौन सा फल खाना चाहिए?pregnancytips.in

Posted on Fri 11th Nov 2022 : 09:30

लड़की पैदा करने के तरीके और गर्भ में लड़की होने के 6 लक्षण

हमारे देश भारत में लिंगानुपात बहुत ज्यादा मात्रा में है प्रति हजार लड़के पर लड़कियां बहुत कम है. लेकिन उसके बाद भी यहां पर लड़के के प्रति उत्साह में कोई कमी नहीं देखने में आती है. चर्चा करेंगे ---

अगर गर्भ में लड़की है तो कौन से लक्षण नजर आते हैं,
हम लड़की प्राप्ति के लिए क्या उपाय कर सकते हैं,
कौन-कौन से ऐसे भोजन है जो गर्भ में लड़की प्राप्ति के लिए जिम्मेदार होते हैं

अगर गर्भ में लड़की है तो कौन से लक्षण नजर आते हैं
अगर गर्भ में लड़की है तो कौन से लक्षण नजर आते हैं -
अगर किसी गर्भवती स्त्री के गर्भ में लड़की है तो उसके कुछ सामान्य से लक्षण नजर आ सकते हैं जो कुछ इस प्रकार से हैं माना जाता है कि ---


लड़के की तुलना में लड़की के दिल की धड़कन काफी तीव्र होती है. अगर घर में मौजूद बच्चे की धड़कन 1 मिनट में 140 से अधिक बार नापी जाती है तो वह लड़की हो सकती है लेकिन यह तीसरी तिमाही में ही चेक करें, क्योंकि पहली तिमाही में तो सभी बच्चों की धड़कन 140 से ऊपर होती हैं.


प्रेगनेंसी के ऊपर शोध करने वाले कुछ शोधकर्ताओं का मानना है कि अगर सुबह के समय में महिलाओं को जी मिचलाने और मितली की समस्या ज्यादा होती है तो यह घर में लड़की होने का संकेत होता है.


प्रेग्नेंसी के समय महिला की मनोदशा का बदलती है लेकिन अगर गर्भ में लड़की होती है तो मनोदशा में कुछ ज्यादा ही परिवर्तन आता है उनमें गुस्सा, चिड़चिड़ापन, तनाव, अवसाद की भावना ज्यादा देखने को मिलती है.



अगर गर्भवती होने पर आपका पेट गोलाकार और ऊपर उठा हुआ है, तो इसे गर्भ में लड़की होने का संकेत माना जा सकता है.


अगर गर्भवती महिला प्रेगनेंसी के दौरान मीठा खाना ज्यादा पसंद करती है तो यह हो सकता है कि उसके घर में एक लड़की हो.


गर्भवती होने पर लहसुन खाने के बाद अगर आपके शरीर की गंध बदलती नहीं है, तो समझिए कि गर्भ में लड़की है. दरअसल, गर्भ में लड़का होने पर शरीर के रोम छिद्रों में से गंध आने लगती है.



लड़की प्राप्ति के लिए क्या करें -
लड़की पैदा करने के 7 उपाय -

ऐसा माना जाता है कि ओवुलेशन पीरियड में संबंध बनाने से गर्भ में लड़का होने की के चांस ज्यादा होते हैं अगर ओवुलेशन पीरियड से 2 दिन पहले कोशिश की जाए तो लड़की पैदा होने के चांस ज्यादा होते हैं.


उसकी उसके पीछे कारण यह है कि पुत्र प्राप्ति के लिए उत्तरदाई क्रोमोसोम तेज गति वाला और कमजोर होता है और पुत्री प्राप्ति के लिए उत्तरदाई क्रोमोसोम गति में तो हल्का होता है लेकिन उसकी जीवन शक्ति मजबूत होती है ज्यादा समय तक जीवित रह सकता है इसलिए अगर कोशिश पोलूशन पीरियड से 2 दिन पहले की जाए तो कन्या प्राप्ति के लिए रिस्पांसिबल क्रोमोसोम ही जीवित बच पाएगा और कन्या की प्राप्ति होगी।


अगर मिलन से पहले पुरुष गर्म पानी से नहाता है तो लड़की प्राप्ति की संभावना ज्यादा होती है क्योंकि गर्मी की वजह से पुत्र प्राप्ति के लिए उत्तरदाई क्रोमोसोम शिथिल पड़ जाते हैं कमजोर हो जाते हैं.




अगर आप लड़की प्राप्ति की इच्छा रखते हैं तो पुरुषों को चाहिए कि वह अपने भोजन में पोटेशियम और नमक सीमित मात्रा में ही लेना शुरू करें. दूसरे शब्दों में कहें तो खाना पकाने में नमक का इस्तेमाल कम से कम करें और पोटेशियम युक्त खाद्य पदार्थ भी कम मात्रा में लें जैसे कि ब्रेड , सीफूड इत्यादि.


पुरुष चाहे तो टाइट इनरवियर पहने. इससे गर्माहट रहेगी और गर्माहट रहेगी और पुत्र प्राप्ति के लिए जिम्मेदार क्रोमोसोम शिथिल रहेंगे कन्या प्राप्ति की संभावना बढ़ेगी.


शोधकर्ताओं के मुताबिक, कम कैलोरी वाली चीज़ें खाने से लड़की पैदा होने सम्भावना बढ़ जाती है. ऐसा इसलिए होता है, क्योंकि शरीर में ग्लूकोज़ का स्तर कम होने से Y क्रोमोसोम जल्द नष्ट हो जाते हैं.


महिला अपने शरीर के पीएच मान को भी बढ़ाकर लड़की प्राप्त की संभावना को अधिक बढ़ा सकती है. इसके लिए महिलाओं को टमाटर और अनानास जैसी खाद्य वस्तुएं खानी चाहिए और ऐसी वस्तुओं का भी सेवन करें जिसके अंदर फोलिक एसिड भरपूर मात्रा में होता है इस तरह से शरीर के पीएच मान को बढ़ाया जा सकता है.



कैसा भोजन खाएं -

अंकुरित और साबुत अनाज में पाए जाने वाली मैग्नीशियम एंड सेलेनियम और दूसरे प्रकार के खनिज तत्वों से हमारी प्रतिरक्षा क्षमता बढ़ती है इससे लड़की पैदा होने में भी सहायता मिलती है.


हरी पत्तेदार सब्जियों में बहुत सारे पोषक तत्व विटामिन होते हैं यह पोषक तत्व और विटामिंस मादा क्रोमोसोम को स्वस्थ रखने में मदद करते हैं उसे आगे बढ़ाने में भी सहायता करते हैं.


कई तरह के बीन्स, जैसे- राजमा, सेम, सोयाबीन, आदि खाने से भी लड़की होने की संभावना बढ़ती है.


अंडों में प्रचूर मात्रा में कैल्शियम और अम्लीय एसिड मौजूद होता है. नियमित रूप से अंडे खाने वाली महिलाओं के शरीर में पीएच का स्तर बढ़ जाता है. पीएच का यह बढ़ा हुआ स्तर नर क्रोमोसोम के लिए नुकसानदेह और मादा क्रोमोसोम के लिए फ़ायदेमंद होता है.

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